शिर्डी के साँई बाबा जी के दर्शनों का सीधा प्रसारण....

Monday, April 15, 2013

श्री साईं लीलाएं - बूटी का रोग छूमंतर




ॐ सांई राम






कल हमने पढ़ा था.. बाबा जी का विचित्र आदेश











श्री साईं लीलाएं











बूटी का रोग छूमंतर

  









एक बार बापू साहब बूटी को अम्लपित्त का रोग हो गया| उन्होंने बहुत इलाज करवाया परन्तु कोई लाभ नहीं हुआ| रोग की वजह से वह इतने कमजोर हो गये कि अब वे मस्जिद जाकर बाबा के दर्शन कर पाने में खुद को असमर्थ पाने लगे| यह बात बाबा को भी पता चल गयी|



एक दिन बाबा ने बूटी को अपने पास बुलवाया और पास में बैठाकर बोले -
"सावधान ! अब तुम्हें कभी उल्टियां या दस्त हुई तो समझ लेना तुम्हारा सामना
मुझसे
है| यह ध्यान रखना|" बाबा का संकेत बूटी की बीमारी की तरह था| बाबा के मुख से निकले उन शब्दों का ऐसा चमत्कारिक प्रभाव हुआ कि बूटी साहब का रोग
उसी समय खत्म हो गया और
वे पूर्णतया स्वस्थ हो गये|



यही बूटी एक बार हैजे की बीमारी का शिकार हो गए| बीमारी के कारण उन्हें बहुत तेज प्यास लगने लगी| डॉक्टरों से इलाज कराने पर जब कोई लाभ होता दिखाई न दिया तो अंतत: वे पुन: बाबा की शरण में जा
पहुंचे और रोग-मुक्ति
की विनती की|



उनकी विनती सुन बाबा ने कहा - "मीठे दूध में अखरोट, बादाम, पिस्ते उबालकर उस काढ़े का सेवन करो| वैसे यह काढ़ा प्राणघातक है| परन्तु बाबा की आज्ञा थी, इसलिए उन्होंने काढ़ा बनाकर सेवन किया तो रोग का समूल नाश
हो गया
|"





कल चर्चा करेंगे..बूटी का रोग छूमंतर     















ॐ सांई राम



===ॐ साईं श्री साईं जय जय साईं ===


बाबा के श्री चरणों में विनती है कि बाबा अपनी कृपा की वर्षा सदा सब पर बरसाते रहें ।



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